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Monday, December 21, 2020
*देहरादून छावनी परिषद में जन औषधि केंद्र की मांग उठी*
Saturday, November 28, 2020
Saturday, November 21, 2020
बच्चों को बेहतर भविष्य देने हेतु मिलकर कदम बढ़ाये- स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी
विश्व भर में बाल अधिकारों के प्रति जागरूकता और सुरक्षा के लिये प्रत्येक वर्ष 20 नवंबर को अंतर्राष्ट्रीय बाल दिवस मनाया जाता है। प्रत्येक बच्चे को सुरक्षित तथा न्यायपूर्ण वातावरण उपलब्ध कराना समाज के प्रत्येक व्यक्ति का कर्तव्य है। बच्चों को ‘गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, उचित पोषण, स्वच्छ और शुद्ध वातावरण, बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं के साथ उनका सर्वांगीण विकास करना नितांत आवश्यक है। समाज को बच्चों के अधिकारों के प्रति जागरूकता करने तथा उनके कल्याण के लिये अन्तर्राष्ट्रीय एकजुटता हेतु बाल दिवस मनाया जाता है।
स्वामी जी ने दुनिया भर के बच्चों का आह्वान करते हुये कहा कि आज की पीढ़ी को अपनी शिक्षा और स्वास्थ्य के साथ-साथ प्रकृति और पर्यावरण के विषय में भी जागरूक रहना होगा। बच्चों का भौतिक विकास के साथ-साथ आध्यात्मिक विकास भी अति आवश्यक है। उन्हें पाठ्यक्रम के साथ पर्यावरण और जीवन मूल्यों का ज्ञान करना भी बहुत जरूरी है।
स्वामी जी ने कहा कि बच्चों के प्रति कई बार समाज का अमानवीय चेहरा देखने को मिलता है। छोटे-छोटे बच्चों के साथ हो रहे हिंसात्मक व्यवहार के बारे में बच्चों को जागरूक कराना जरूरी है। जिन बच्चों के परिवार नहीं है, उन नन्हें-नन्हें बच्चों को बचपन से ही अनेक समस्याओं का सामना करना पड़ता है। मेरा मानना है है जो परिवार सक्षम है उन्हें ऐसे बच्चों को गोद लेने हेतु आगे आना चाहिये, साथ ही उनके बेहतर स्वस्थ, शिक्षा और सुरक्षित भविष्य को भी सुनिश्चित करना होगा ताकि उन बच्चों का जीवन और भविष्य दोनों को बदला जा सके।
स्वामी जी ने कहा कि आज अन्तर्राष्ट्रीय बाल दिवस के अवसर पर हम सभी को दिव्यांग बच्चों के जीवन में आने वाली परेशानियों के विषय में भी जागरूक होना होगा। दिव्यांग बच्चें भी हमारे समाज का हिस्सा है, वे भी सामान्य बच्चों की तरह आगे बढ़ना चाहते हंै, उन्हें भी वही सम्मान और अधिकार मिलना चाहिये। उन्हें अपने जीवन में अनेक चुनौतियों का सामना करना पड़ता है इसलिये ऐसे बच्चों को सामाजिक सुरक्षा के साथ अतिरिक्त सहायता की भी जरूरत पड़ती है। अगर हमारा समाज और युवा पीढ़ी इन बातों के प्रति जागरूक हो जाये तो दिव्यांग बच्चों के जीवन में आने वाली कई समस्याओं को कम किया जा सकता है। आईये अन्तर्राष्ट्रीय बाल दिवस के अवसर पर बच्चों के सुरक्षित भविष्य के लिये संकल्प लें और अपना योगदान प्रदान करें।
Thursday, November 19, 2020
जिस दिन भारत से मैनुअल स्कैवेंजिंग की प्रथा समाप्त हो जायेगी उस दिन सही मायने में सामाजिक न्याय स्थापित होगा:स्वामी चिदानन्द सरस्वती
स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी ने कहा कि विगत कुछ वर्षों में भारत में स्वच्छता और स्वास्थ्य के क्षेत्र में अद्भुत कार्य हुआ है। भारत ने खुले में शौच प्रथा को समाप्त करने के लिये व्यापक स्तर पर कार्य किया है और इससे अनेक लोगों के जीवन स्तर में सुधार आया। स्वच्छता के स्तर को बनाये रखने तथा सभी समुदायों की स्वच्छ और पूर्ण स्वच्छता प्रणाली युक्त सुरक्षित शौचालयों तक पहुँच बनाये रखना हम सभी की जिम्मेदारी है। शौचालय केवल एक शौचालय ही नहीं है बल्कि वह एक जीवन रक्षक प्रणाली भी है, हमारी माताओं, बहनों और बेटियों की गरिमा और सुरक्षा को बनाये रखने का एक माध्यम भी है।
स्वामी जी ने कहा कि शौचालय का उपयोग करने का मतलब सार्वजनिक स्वास्थ्य की रक्षा से है अतः प्रत्येक व्यक्ति की पहुंच शौचालय तक हो, इसके लिये लोगों को भी अपनी आदत और सोच में परिवर्तन करना होगा। उन्होने कहा कि 21 वीं सदी में भी भारत में कुछ स्थानों पर मैनुअल स्कैवेंजर्स है। मैनुअल स्कैवेंजिंग की प्रथा को बनाये रखना मेरी दृष्टि में सामाजिक न्याय का उल्लघंन है। हम सब मिलकर प्रयास करे ंतो मैनुअल स्कैवेंजर्स के साथ वर्षो से हो रहे अन्याय और शोषण से उन्हें बचा जा सकता है। इस प्रथा को समाप्त करने के लिये समाज के प्रत्येक व्यक्ति को जागरूक होना होगा, उनके दर्द को महसूस करना होगा, उन्हें बेहतर आजीविका के साधन प्रदान करना होगा तथा समाज में सम्मान व उचित स्थान देने हेतु प्रयत्न करना होगा। जिस दिन भारत से मैनुअल स्कैवेंजिंग की प्रथा समाप्त हो जायेगी उस दिन सही मायने में सामाजिक न्याय स्थापित होगा।
जीवा की अन्तर्राष्ट्रीय महासचिव साध्वी भगवती सरस्वती जी ने आज विश्व शौचालय दिवस के अवसर पर कहा कि हमें स्वच्छता के महत्व को नहीं भूलना चाहिये। स्वच्छ जल के साथ महिलाओं की सुरक्षा जुड़ी हुयी है। साथ ही शौचालयों की कमी भी एक गंभीर समस्या है। महिलाओं के खिलाफ बढ़ती हिंसा का एक प्रमुख कारण यह भी है कि उन्हें रात के अन्धेरे में सुनसान जगह पर शौच के लिये जाना पडता है इस कारण उन्हें कई बार खतरों का सामना भी करना पड़ता है। महिलाओं और लड़कियों की सुरक्षा और गरिमा दोनों को सुनिश्चित करने के लिये हर व्यक्ति की पहुंच शौचालय तक होनी चाहिये। इसके लिये अब महत्वपूर्ण कदम उठाने होंगे।
स्वामी जी ने कहा कि सतत विकास लक्ष्य 6 का लक्ष्य खुले में शौच को खत्म करना है और यह सुनिश्चित करना है कि 2030 तक टिकाऊ स्वच्छता सेवाओं तक सभी की पहुंच हो। वर्तमान समय में भी दुनिया के4.2 बिलियन लोगों को स्वच्छता की बुनियादी सुविधायें और शौचालय की सुविधायें उपलब्ध नहीं हैं, इसलिये हम सभी को मिलकर प्रयास करना है कि कोई भी पीछे न छूट जाये क्योंकि स्वच्छ जल, शौचालय और शुद्ध वायु पर सभी का अधिकार है। आईये मिलकर संकल्प करें कि एक स्वच्छ और सुन्दर राष्ट्र के निर्माण हेतु योगदान प्रदान करेंगे तथा लोगों को शौचालय के उपयोग करने हेतु जागरूक करेंगे।
छवानी परिषद कार्यालय में मुख्य अधिशासी अधिकारी तनु जैन द्वारा छवानी गढ़ी, डाकरा, टपकेश्वर क्षेत्र की जनता द्वारा आयी आपत्तियों की जन सुनवाई की
Thursday, November 12, 2020
निमोनिया छोटे बच्चों के जीवन का सबसे बड़ा दुश्मन :स्वामी चिदानन्द सरस्वती
संयुक्त राष्ट्र बाल कोष की रिपोर्ट के अनुसार भारत में पाँच वर्ष से कम उम्र के बच्चों की कुल मृत्यु में से 14 प्रतिशत मृत्यु का कारण निमोनिया होता है। निमोनिया के कारण वर्तमान मृत्यु दर प्रति 1,000 जीवित जन्मों पर पाँच है और इसे वर्ष 2025 तक तीन से कम करने का लक्ष्य रखा गया है। निमोनिया बच्चों के लिये सबसे बड़ा खतरा है। वैश्विक स्तर पर यह 1,53,000 से अधिक नवजात शिशुओं सहित हर वर्ष पाँच वर्ष से कम उम्र के 8,00,000 से अधिक संक्रमित बच्चों के जीवन को प्रभावित करता है। हर 39 सेकंड में एक बच्चा निमोनिया के कारण मौत हो जाती है।
स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी ने कहा कि कोरोना ने हमें बता दिया और दिखा दिया कि अब जागने की बारी है। हम सभी कितने दिनों तक घरों में बंद रह सकते हैं और मास्क पहन सकते हंै इससे लोगों का जीवन तनाव पूर्ण हो रहा है, अतः यह एक सम्भलने का अवसर है। अब नहीं सम्भलें तो फिर बहुत देर हो जायेगी क्योंकि अभी नहीं, तो कभी नहीं इसलिये जीवन जितना नैसर्गिक और नैचुरल बना सकते हैं उतना ही बेहतर है। हमारे चारों ओर प्रदूषण बढ़ रहा है उसमें भी वायु प्रदूषण तो सबसे बड़ा प्रदूषण है और स्वास्थ्य के लिये सबसे बड़ा खतरा भी है। यह न केवल फेफड़ों को नुकसान पहुंचाता है बल्कि मस्तिष्क को भी नुकसान पहंचाता है इसलिये वायु की गुणवत्ता में सुधार लाकर प्रकृति के अनुसार जीना बहुत जरूरी है।
स्वामी जी ने कहा कि हम सभी जानते है कि श्वास चल रही हंै तो जीवन है और श्वास के लिये आॅक्सीजन की जरूरत है। आॅक्सीजन को बनाया तो नहीं जा सकता परन्तु प्रदूषित होने से बचाया जा सकता है; शुद्ध रखा जा सकता है इसलिये आईये संकल्प लें कि अपने और अपने बच्चों के जीवन की रक्षा के लिये वृक्षारोपण अवश्य करेंगे।
Friday, November 6, 2020
एक व्यक्ति के रक्त से बचती है कई लोगों की जिन्दगी: विधायक जोशी
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत एवं मसूरी विधायक गणेश जोशी ने देहरादून के कण्डोली में मोदी वाटिका में लगाए गए 70 पौंधे
भारतीय जनता युवा मोर्चा के देहरादून महानगर अध्यक्ष पद पर अंशुल चावला की ताजपोशी के बाद मसूरी विधायक गणेश जोशी ने उन्हें बधाई दी।
ग्राम छिरारी उद्यानिकी के नवाचार की ओर अग्रसर "सफलता की कहानी"
ग्राम छिरारी उद्यानिकी के नवाचार की ओर अग्रसर "सफलता की कहानी"
-विदिशा | लटेरी विकासखण्ड का ग्राम छिरारी उद्यानिकी फसलीय नवाचार की ओर अग्रसर है। यहां के कृषकों द्वारा पहले हल्दी, धनिया, मिर्च, टमाटर इत्यादि उद्यानिकी फसलों का उत्पादन लेकर आमदनी में वृद्वि की है।
ग्राम के प्रगतिशील कृषक अनिल मेहता ने उद्यानिकी विभाग के अधिकारियों के द्वारा दिए गए मार्गदर्शन से प्रेरित होते हुए अब केले की फसल लेने के प्रबंध सुनिश्चित किए है कृषक श्री मेहता ने बताया कि उन्होंने 0.400 हेक्टेयर रकवा में केले के एक हजार सात सौ पचास पौधे रोपित किए है। टेशू कल्चर कुरवाई में तैयार हुए पौधे जिले के कृषकों द्वारा उद्यानिकी योजनाओं के तहत क्रय किए जा रहे है। विभाग के सहायक संचालक केएल व्यास ने बताया कि शुरू में केला एक वर्ष में फसल देने लगता है। इसके बाद आगामी वर्षो में बिना खर्चे के छह-छह माह में केले की फसल मिलने लगती है। जिले के कृषकों को काजू और बादाम की फसल लेने के लिए भी अभिप्रेरित किया जा रहा है।
लोक सेवा केंद्र से मिलेगा आयुष्मान भारत का कार्ड
लोक सेवा केंद्र से मिलेगा आयुष्मान भारत का कार्ड
-विदिशा | आयुष्मान भारत योजना की हितग्राही अब अपना आयुष्मान भारत लाभार्थी कार्ड लोक सेवा केंद्र के माध्यम से प्राप्त कर सकेंगे ।शीघ्र ही यह योजना जिले के सभी लोक सेवा केंद्रों में आरंभ हो रही है। इसके लिए शासन से ₹30 शुल्क निर्धारित किया गया है। इसके लिए सभी लोक सेवा केंद्रों के आधार ऑपरेटरों के यूजर आईडी बनाए जा रहे हैं। इस योजना द्वारा गरीब और कमजोर परिवारों को निशुल्क इलाज की सुविधा मिलेगी. आयुष्मान भारत योजना भारत सरकार द्वारा शुरू की गई हेल्थ इंश्योरेंस स्कीम है। जिसके तहत गरीब लोगों को प्रतिवर्ष 5 लाख रुपये तक के इलाज के लिए कैशलेश कवरेज प्रदान किया जाता है.इस योजना के द्वारा लाभार्थी सार्वजनिक और निजी दोनों तरह के अस्पतालों में इलाज की सुविधा प्राप्त कर सकता है।
इस योजना के तहत गर्भावस्था देखभाल और मातृ स्वास्थ्य सेवाएं, नवजात और शिशु स्वास्थ्य सेवाएं, बाल स्वास्थ्य, जीर्ण संक्रामक रोग, गैर संक्रामक रोग, मानसिक बीमारी का प्रबंधन, दांतों की देखभाल, बुजुर्ग के लिए आपातकालीन चिकित्सा जैसी स्वास्थ्य सेवाओं को शामिल किया गया है।
आयुष्मान भारत योजना की सबसे बड़ी विशेषता में शामिल होने के लिए परिवार के आकार और उम्र का कोई बंधन नहीं है. सरकारी अस्पताल और पैनल में शामिल अस्पताल में आयुष्मान भारत योजना के लाभार्थियों का कैशलेस और पेपरलेस इलाज किया जाएगा।
आयुष्मान भारत योजना में शामिल होने के लिए,
ग्रामीण इलाकों में-
1. मोटे तौर पर ग्रामीण इलाके में कच्चा मकान होना चाहिए
2. परिवार में किसी व्यस्क (16-59 साल) का नहीं होना, परिवार की मुखिया महिला हो.
3. परिवार में कोई दिव्यांग हो.
4. अनुसूचित जाति और जनजाति से हों.
5. भूमिहीन व्यक्ति व दिहाड़ी मजदूर हों.
6. इसके अलावा, ग्रामीण इलाके के बेघर व्यक्ति.
7. निराश्रित, दान या भीख मांगने वाले.
8. आदिवासी और कानूनी रूप से मुक्त बंधुआ.
शहरी इलाकों में
1. भिखारी, कूड़ा बीनने वाले, घरेलू कामकाज करने वाले.
2. रेहड़ी-पटरी दुकानदार, मोची, फेरी वाले.
3. सड़क पर कामकाज करने वाले अन्य व्यक्ति.
4. कंस्ट्रक्शन साइट पर काम करने वाले मजदूर.
5. प्लंबर, राजमिस्त्री, मजदूर, पेंटर, वेल्डर,
6. सिक्योरिटी गार्ड, कुली और भार ढोने वाले अन्य कामकाजी व्यक्ति.
7. स्वीपर, सफाई कर्मी, घरेलू काम करने वाले.
8. हैंडीक्राफ्ट का काम करने वाले लोग, टेलर, ड्राइवर, रिक्शा चालक, दुकान पर काम करने वाले लोग।
धनिया से हुई आमदनी में वृद्धि
धनिया से हुई आमदनी में वृद्धि (सफलता की कहानी)
-विदिशा | उद्यानिकी विभाग की मसाला क्षेत्र विस्तार योजना के अंतर्गत कृषक श्री जहीर खां ने धनिया की खेती प्रारंभ की जिससे एक वर्ष में पचास हजार रूपए का अतिरिक्त मुनाफा हुआ है।
कुरवाई विकासखण्ड के ग्राम मेहलुआ के कृषक श्री जहीर खां ने बताया कि उद्यानिकी फसलों से ग्राम के अन्य कृषकों द्वारा लाभ लिया जा रहा था। जिससे मैं अभिप्रेरित हुआ हूं। उद्यानिकी फसलों से उनको होने वाले मुनाफे ने मुझे उद्यानिकी फसलों की ओर ध्यान आकर्षित कराया है मैंने उद्यानिकी विभाग में सम्पर्क किया जहां मुझे मसाला क्षेत्र विस्तार योजना के अंतर्गत धनिया की खेती करने का रूझान बढा और मैंने एक हेक्टेयर में धनिया किस्म आरसीआर 435 को लगाया। धनिया की खुशबू की महक चहुंओर फैल रही थी जिससे मुख्य सड़क से निकलने वाले राहगीर रूककर खेत को देखते थे। एक वर्ष में ही मुझे पचास हजार का शुद्व मुनाफा हुआ है जबकि लागत 18 हजार 370 रूपए आई थी। किसानो की आमदनी दुगनी कैसे हो यह मैंने जाना उद्यानिकी फसलों से।
अदरक फसल में लागत का कई गुना मुनाफा "सफलता की कहानी"-
अदरक फसल में लागत का कई गुना मुनाफा "सफलता की कहानी"-
विदिशा | उद्यानिकी फसलों की ओर किसानो का रूझान बढ़ रहा है। अब जिले के विभिन्न क्षेत्रों में उद्यानिकी फसलों को सुगमता से आवागमन के दौरान देखा जा सकता है। लटेरी विकासखण्ड के ग्राम शहरखेडा के कृषक श्री मुन्नीलाल धाकड़ ने 0.250 रकवे में अदरक की फसल ली है। जिसमें पांच कि्ंवटल बीज 35 हजार रूपए का, जून माह के प्रथम सप्ताह में रोपण किया गया था अदरक की फसल में खाद, दवा एवं खेत की तैयारी में कुल सात हजार रूपए और खर्च हुए थे इस प्रकार कृषक मुन्नीलाल धाकड़ ने कुल 42 हजार की लागत से अदरक की खेती की है। खेत में खड़ी फसल की व्यापारियों द्वारा एक लाख बीस हजार की कीमत लगा चुके है। कृषक मुन्नीलाल का कहना है कि इतनी कीमत में मैं अपनी अदरक की फसल को बेचूंगा। वर्तमान में फसल का आंकलन व्यापारियों द्वारा लगाई गई कीमत से अधिक हो रहा है अतः थोडा और इंतजार करूंगा नही तो बाजार में स्वंय जाकर बेचूंगा।
कृषक मुन्नीलाल धाकड़ का कहना है कि उद्यानिकी फसलों से ऐसी आमदनी होगी मुझे कल्पना नही थी मैं अपने अन्य कृषक भाईयों से भी अपील करूंगा की वे कम से कम आधा हेक्टेयर में उद्यानिकी फसल जरूर ले जो हमारी आर्थिक स्थिति में वृद्वि की सहायक होंगी।
स्व-सहायता समूह के लिए गौशालाएं बनी आमदनी का जरिया
गौ शालाएं होंगी समूह के लिए वरदान साबित (सफलता की कहानी)
सीहोर |शासन द्वारा निर्मित गौशालायें संचालन का कार्य आजीविका मिशन के स्व-सहायता समूहों/ग्राम संगठनों को दिया गया है। स्व-सहायता समूह की दीदियों द्वारा गौशालाओं को आमदनी का जरिया बना लिया है। इन गौशालाओं में पंच गव्य से निर्मित बहुत ही सुंदर आकर्षक दीपक, लक्ष्मी नारायण की मूर्ति, शुभ लाभ, लक्ष्मी चरण, शुभ लाभ, स्वास्तिक, आसन आदि सामग्री बनाई जा रही है। इस दीपावली पर एक गिफ्ट पैक तैयार किया गया है जिसमें पूजन सामग्री, हवन सामग्री, पंच गव्य से बने दीपक, लक्ष्मी गणेश मूर्ति, शुभ लाभ, स्वास्तिक, व गोबर के कंडे, जैसी कुल 26 सामग्री गिफ्ट पैक में रहेगी।
जिला परियोजना प्रबन्धक आजीविका मिशन द्वारा बताया गया कि प्रदेश में पहला मौका होगा ग्रामीण गरीब परिवारों के समूह की महिलाओं द्वारा दीपावली के त्यौहार में बेचने हेतु गिफ्ट पैक तैयार किया गया है। गिफ्ट पैक की कीमत बाजार में ₹399 में आजीविका रूरल मार्ट लुनिया चौराहा सीहोर और भोपाल व ऑनलाइन बुकिंग से प्राप्त की जा सकेगी। अभी तक 75 हजार के आर्डर मिल चुके हैं।
लेकिन एक वक्त पर हमारी ही थाली से अनाज गायब हो गया था, मुख्यमंत्री ने हमारी थाली फिर से अनाज से भर दी
हम दूसरों की थाली में सब्जी पहुंचाते हैं (खुशियों की दास्तां)
उज्जैन | शहर के मालीपुरा में रहने वाले 41 वर्षीय इन्द्रेश बारोठ और उनके छोटे भाई काफी समय से सब्जी बेचने का व्यवसाय करते हैं। उनके परिवार में उन्हें मिलाकर कुल नौ सदस्य हैं। इतने बड़े परिवार को चलाने के लिये इन्द्रेश और उनके भाई दिन-रात मेहनत करते हुए अपना व्यवसाय चलाते थे, लेकिन इन्द्रेश और उनके परिवार ने यह कभी नहीं सोचा था कि दूसरों की थाली में सब्जी पहुंचाने वाले उनके परिवार की थाली से ही एक दिन राशन दूर हो जायेगा।
वैश्विक महामारी कोविड-19 जैसे-जैसे पैर पसार रही थी, वैसे-वैसे इन्द्रेश के व्यवसाय में मंदी भी पैर पसारने लगी। कोरोना के चलते लॉकडाउन के कारण इन्द्रेश को सब्जी के व्यवसाय में काफी नुकसान हो गया था। एक समय पर अच्छा चलने वाला उनका व्यवसाय मानों थम-सा गया था। जैसे-जैसे लॉकडाउन की अवधि बढ़ती जा रही थी, इन्द्रेश के घर में राशन का स्टॉक समाप्त होता जा रहा था। व्यवसाय ठप पड़ने की वजह से हुए आर्थिक नुकसान के कारण बाजार से महंगे दाम में राशन खरीदना उनके लिये मुश्किल होता जा रहा था।
धीरे-धीरे जब अनलॉक की प्रक्रिया प्रारम्भ हुई, तो भी इन्द्रेश के लिये परिस्थितियां पहले जैसी नहीं थी। इन्द्रेश को व्यवसाय में जो नुकसान हुआ था, उसकी भरपाई कर पाना तो दूर, व्यवसाय भी अब पहले जैसा नहीं चल रहा था। ऐसे में मुख्यमंत्री अन्नपूर्णा योजना की बदौलत इन्द्रेश और उनके परिवार की थाली में फिर से अनाज आना प्रारम्भ हो गया है। योजना अनुसार इन्द्रेश के परिवार के प्रति सदस्य को पांच-पांच किलो गेहूं व चावल, एक किलो नमक तथा डेढ़ लीटर केरोसीन मुहैया कराया जा रहा है। इससे इन्द्रेश और उसके परिवार को मुश्किल घड़ी में काफी संबल मिला है। गरीबों के हित के लिये प्रारम्भ की गई योजना हेतु इन्द्रेश मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त करते हैं।
कृषक निहालसिंह पिछले 4 वर्षों से कर रहे हैं अधिक आय और पोषण से भरपूर ‘सब्जीवाली सोयाबीन’ का उत्पादन "सफलता की कहानी"
उज्जैन | मध्य प्रदेश राज्य में उज्जैन सोयाबीन उत्पादन का एक प्रमुख केन्द्र है। यहां औसतन पांच लाख हेक्टेयर में 1430 किलो प्रति हेक्टेयर के मान से सोयाबीन का उत्पादन हो रहा है। पिछले 40 सालों से भी अधिक समय से उज्जैन में सोयाबीन का उत्पादन हो रहा है, लेकिन इसका घरेलु उपयोग नहीं होने से इसकी कीमतों का निर्धारण अन्तर्राष्ट्रीय बाजारों से होता है तथा कई बार कृषकों को उचित आर्थिक लाभ प्राप्त नहीं होता।
लेकिन उज्जैन के प्रगतिशील किसान निहालसिंह ने इस परम्परा को तोड़ते हुए लीक से हटकर चलते हुए एक नवाचार किया है। शहर के समीप चिन्तामन जवासिया में रहने वाले किसान निहालसिंह सोयाबीन की एक नई प्रजाति जिसे ‘सब्जीवाली सोयाबीन’ के नाम से जाना जाता है, इस अधिक आय और पोषण से भरपूर वाली सोयाबीन का व्यावसायिक उत्पादन पिछले चार वर्षों से कर रहे हैं। उल्लेखनीय है कि कृषि विज्ञान केन्द्र उज्जैन द्वारा वर्ष 2015-16 में सोयाबीन की यह नई प्रजाति जिसे विदेशों में ‘इडामा’ कहा जाता है, कृषकों के बीच पहुंचाई गई थी। सोयाबीन की यह किस्म प्रति हेक्टेयर हरी फली 50 से 65 क्विंटल तथा बीज 15 से 17 क्विंटल उत्पादन देती है। इसका उपयोग सब्जी के रूप में तथा अन्य व्यंजन जैसे पकौड़े, पराठे आदि में भी किया जा सकता है। यह विशेष रूप से बरसात के मौसम में ग्रामीण क्षेत्रों में उपयुक्त है जब सब्जियों की उपलब्धता कम होती है तथा इसे प्रोटीन के एक बेहतरीन विकल्प के रूप में अपनाया जा सकता है।
इस सब्जी वाली सोयाबीन की यह विशेषता है कि इसमें सामान्य सोयाबीन की अपेक्षा कम मात्रा में प्रोटीन (12 प्रतिशत), कार्बोहाइड्रेट (13.1 प्रतिशत) और वसा (मात्र 3.6 प्रतिशत) होता है, जो शीघ्र पच जाती है, जबकि सामान्य सोयाबीन में 40 प्रतिशत प्रोटीन और 20 प्रतिशत वसा होती है, जिसे हमारा पाचन-तंत्र ठीक से नहीं पचा पाता और इसमें एक विशिष्ट गंध आती है तो अरूचिकर होती है। सब्जीवाली सोयाबीन में इसके अलावा कैल्शियम, लोहा, सोडियम और विटामीन ‘ए’ तथा ‘सी’ की प्रचुर मात्रा है, जो कुपोषण दूर करने में सहायक है।
उज्जैन के प्रगतिशील कृषक निहालसिंह की इस उपलब्धि पर उन्हें कई प्रमाण-पत्र दिये जा चुके हैं। प्रशासन द्वारा तथा हाल ही में राज्य के कृषि मंत्री श्री कमल पटेल द्वारा भी इन्हें सम्मानित किया जा चुका है। निश्चित रूप से कृषक निहालसिंह कृषि को लाभ का धंधा बनाने वाले किसानों के लिये एक मिसाल बन चुके हैं।
Wednesday, November 4, 2020
Tuesday, October 20, 2020
Monday, October 19, 2020
मसूरी विधायक गणेश जोशी ने विजेता एवं उप विजेता टीम को पुरस्कृत किया
Monday, October 5, 2020
राज्यपाल बेबी रानी मौर्य एवं मसूरी विधायक गणेश जोशी ने राजभवन परिसर में सुरक्षाकर्मियों एवं सफाईकर्मियों को इम्युनिटी किट वितरित किये।
नैनीताल बैंक की नवीन शाखाओं का देहरादून में भव्य उदघाटन
Sunday, October 4, 2020
सरकार की प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना आई, किसानों को हो रही है अब फसली नुकसान की भरपाई
सरकार की प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना आई, किसानों को हो रही है अब फसली नुकसान की भरपाई
शिमला ,योजना के अन्तर्गत वर्तमान सरकार के कार्याकाल में राज्य में अब तक 101585 किसानों को की जा चुकी है 19.54 करोड़ रुपये की क्षतिपूर्ति प्रदेश के किसानों द्वारा उगाई जाने वाली मुख्य फसलों जैसे गेंहू, मक्की, धान, जौ को प्राकृतिक आपदाओं से होने वाले नुकसान से बचाने के लिए प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना सहायक सिद्व हो रही है। इस योजना से किसानों को उनके नुकसान की अब भरपाई होने लगी है। प्रदेश सरकार द्वारा राज्य में किसान हित में लागू की गई प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का सीधा लाभ अब प्रदेश के किसानों को मिलने लगा है।
मौसम आधारित नगदी फसलें भी योजना में शामिल
राज्य में लोगों द्वारा उगाई जाने वाली मुख्य फसलों के अलावा नगदी फसलों, टमाटर, मटर, अदरक, लहसुन, शिमला मिर्च सहित अन्य मौसम आधारित नगदी फसलों को प्राकृतिक आपदाओं जैसे कि आग, आसमानी बिजली, सूखा, शुष्क अवधि, बाढ़, जल भराव, ओलावृष्टि, चक्रवात, तूफान, भूस्खलन, बादल फटना, कीट व रोगों आदि से हुए नुकसान की क्षतिपूर्ति के लिए ‘प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना’ में शामिल किया गया है।
किसानों को की जा चुकी है 19.54 करोड़ रुपये की क्षतिपूर्ति
राज्य सरकार किसान हित को देखते हुए राज्य में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को प्रभावी तरीके से कार्यान्वित कर रही हैं। सरकार के वर्तमान कार्याकाल में राज्य में अब तक 101585 प्रभावित किसानों को फसलों को हुए नुकसान की एवज में 19.54 करोड़ रुपये की क्षतिपूर्ति की गई है। योजना के अन्तर्गत जिला बिलासपुर में 8436, मंडी में 1081, सिरमौर में 1764, सोलन में 2659, चंबा में 3108, हमीरपुर में 45875, कांगड़ा में 22997, ऊना में 15652 और कुल्लू जिला में 13 किसानों को रबी व खरीफ की फसलों को हुए नुकसान की एवज में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अन्र्तगत क्षतिपूर्ति की गई है।
बीमित राशि पर प्रीमियम की अधिकतम दर 5 प्रतिशत
योजना के अन्तर्गत फसल का बीमा करवाने के लिए किसानों के लिए प्रीमियम दर बीमित राशि पर अधिकतम 5 प्रतिशत रखी है। जबकि मौसम आधारित फसलों के लिए खरीफ मौसम के लिए बीमित राशि के अनुसार 2 प्रतिशत व रबी के मौसम के लिए 1.5 प्रतिशत रखी गई है। प्रीमियम दर यदि 5 प्रतिशत से अधिक होती है तो वह राज्य व केन्द्र सरकार 50ः50 के अनुपात में वहन करेगी।
मौसमी व्यवहार बीमा आवरण में कवर
मौसमी व्यवहार को भी प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में शामिल किया गया है। अगर किसान कम वर्षा या प्रतिकूल म©समी व्यवहार के कारण समय पर अपने खेतों में फसल की बुवाई नहीं कर पाता है त¨ उसे भी बीमा आवरण में कवर किया गया है। इसके अलावा फसल कटाई के उपरांत खेत में सुखाने के लिए रखी गई फसल यदि 14 दिन के भीतर चक्रवाती बारिश, चक्रवात, ओलावृष्टि व बेम©समी बारिश के कारण खराब ह¨ जाती है, त¨ उस स्थिति में फसल की क्षतिपूर्ति का आकंलन खेत स्तर पर ही करके क्षतिपूर्ति की जाती है।
गैर ऋणी किसानों के लिए स्वैच्छिक है योजना
गैर ऋणी किसानों के लिए प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना स्वैच्छिक है, जबकि खेती के लिए ऋण लेने वाले किसानों के लिए योजना के अन्तर्गत सभी ऋणी किसानों का वित्तिय संस्थाओं द्वारा स्वतः ही बीमा कर दिया जाता है। यदि कोई ऋणी किसान इस योजना का लाभ नहीं उठाना चाहते हैं तो वह इस संबंध में अपना घोषणा पत्र सम्बन्धित बैंक मंे साल में कभी भी जमा करवा सकता है। परन्तु यह घोषणा पत्र ऋणी किसान को सम्बन्धित बैंक शाखा को सम्बन्धित मौसम की बीमा करवाने की अन्तिम तिथियों से सात दिन पूर्व तक देना होगा।
खरीफ मौसम में यह नगदीं फसलें भी शामिल
खरीफ मौसम के लिए जिला सोलन, बिलासपुर, शिमला, सिरमौर कांगड़ा, कुल्लू व मंडी में चुने हुुए क्षेत्रों में टमाटर की खेती, जिला सोलन, बिलासपुर, सिरमौर जिले की अदरक की फसल, जिला शिमला, किन्नौर, लाहौल-स्पीति, मंडी, कुल्लू व चम्बा की मटर की फसल, जिला चम्बा, कांगड़ा, किन्नौर, कुल्लू, लाहौल व स्पीति, मंडी, शिमला, सिरमौर व ऊना की आलू की फसल, जिला कुल्लू व शिमला (ठियोग) की बन्दगोभी की फसल, शिमला (ठियोग) व लाहौल व स्पीति की फूलगोभी की फसल को भी मौसम आधारित फसल बीमा योजना में शामिल किया गया हैं।
रबी मौसम में यह नगदी फसलें भी शामिल
रबी मौसम में जिला सोलन व मंडी में उगाई जाने वाली टमाटर की फसल, कांगड़ा की आलू की फसल, धर्मपुर जिला सोलन की शिमला मिर्च व सिरमौर और कुल्लू की लहसुन की फसल को भी मौसम आधारित फसल बीमा योजना में शामिल किया गया हैं।
किसान हित सुरक्षित करने के लिए सरकार प्रतिबद्व
कृषि मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार राज्य के किसानों के हित सुरक्षित करने के लिए प्रतिबद्व है। जिसके लिए सरकार किसानों को हर संभव सुविधा उपलब्ध करवा रही है। राज्य में किसान हित में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को लागू किया गया है ताकि किसानों की फसलों को विभिन्न प्रकार की आपदाओं से होने वाले नुकसान की क्षतिपूर्ति की जा सके।
प्रधानमंत्री ने सिस्सू में जनसभा को संबोधित किया
शिमला ,सामरिक दृष्टि से महत्त्वपूर्ण अटल टनल लाहौल क्षेत्र के पर्यटन विकास में निभाएगी अहम भूमिकाः मुख्यमंत्री
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने लाहौल घाटी के सिस्सू में जनसभा को संबोधित करते हुए क्षेत्र के लोगों को टनल के निर्माण के लिए बधाई दी। उन्होंने कहा कि यह टनल क्षेत्र में पर्यटन और कृषि आर्थिकी को सुदृढ़ बनाने में अहम भूमिका निभाएगी।
इससे पूर्व उद्योग मंत्री बिक्रम सिंह और वन मंत्री राकेश पठानिया ने टनल के उतरी छोर पर पहुंचने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का स्वागत किया।
केन्द्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी इस अवसर पर अपने विचार प्रकट किए।
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने सिस्सू में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का स्वागत करते हुए अटल टनल रोहतांग को देश के लोगों को समर्पित करने के लिए उनका आभार व्यक्त किया। टनल से लाहौल के लोगों को हर मौसम में देश के अन्य क्षेत्रों से संपर्क बना रहेगा और पर्यटन को बढ़ावा देने में यह महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। टनल सामरिक दृष्टि से महत्त्वपूर्ण है। यह सशस्त्र सेनाओं को चीन से लगने वाली लेह-लद्दाख की सीमाओं के लिए हथियार और अन्य सामग्री के परिवहन में सहायक सिद्ध होगी।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री हिमाचल प्रदेश के हर क्षेत्र और यहां की संस्कृति सेे भली-भान्ति परिचित है।
उन्होंने कहा कि वह प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के वर्षों पुराने सपने को साकार होता देख अत्यंत प्रसन्न हैं जो आज पूरा हो गया है। यह पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और उनके करीबी मित्र अर्जुन गोपाल (ताशी दावा) के ईमानदार प्रयासों का परिणाम है। अर्जुन गोपाल ने श्री वाजपेयी को यकीन दिलाया था कि किस प्रकार टनल के निर्माण से लाहौल के लोगों की आर्थिकी सुदृढ़ होगी।
केन्द्रीय वित्त एवं काॅरपोरेट मामले राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर, तकनीकी शिक्षा मंत्री डाॅ. रामलाल मारकंडा, कृषि मंत्री वीरेन्द्र कवंर, स्वास्थ्य मंत्री डाॅ. राजीव सैजल, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री राजेन्द्र गर्ग, सांसद रामस्वरूप शर्मा, और प्रदेश सरकार के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी इस अवसर पर उपस्थित थे।
अटल टनल से प्रदेश को मिली नई पहचानः जय राम ठाकुर
शिमला ,कुल्लू जिला में दक्षिणी पोर्टल मनाली में रोहतांग अटल टनल रोहतांग का लोकार्पण करने के उपरांत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज सोलंग नाला में एक विशाल जनसमूह को संबोधित किया। इस अवसर पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी सोलंग नाला में जनसभा को संबोधित किया।
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का स्वागत करते हुए राष्ट्र को अटल टनल समर्पित करने के लिए धन्यवाद किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अटल टनल रोहतांग के लोकार्पण से हिमाचल प्रदेश में विकास का एक नया अध्याय आरम्भ हुआ है और क्षेत्र को एक नई पहचान मिली है। टनल के निर्माण से लाहौल घाटी को सभी मौसमों में देश के अन्य क्षेत्रों से संपर्क बना रहेगा और मनाली व लाहौल घाटी के बीच आवागमन आसान बनेगा। यह सुरंग राज्य में पर्यटन के विकास में एक मील को पत्थर साबित होगी।
जय राम ठाकुर ने पुरानी स्मृतियों को ताजा करते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को 90 के दशक में उनके पैराग्लाइडिंग रोमांच का स्मरण करवाया। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ वर्षोंे में सोलंग नाला पर्यटकों का पसंदीदा गंतव्य बनकर उभरा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा इस ऐतिहासिक दिवस पर अटल टनल, रोहतांग के लोकार्पण से क्षेत्र में पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा और प्रदेश की आर्थिकी सुदृढ़ होगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड-19 महामारी के बावजूद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इस टनल के लोकार्पण के लिए व्यक्तिगत रूप से हिमाचल प्रदेश आने का निर्णय लिया जो प्रदेश और प्रदेशवासियों के प्रति उनके प्रेम और लगाव को दर्शाता है। प्रदेश सरकार कोविड-19 महामारी के कारण इस अवसर पर भव्य समारोह का आयोजन नहीं कर पाई लेकिन प्रदेश की सभी 3226 ग्राम पंचायतों में इस कार्यक्रम के सीधे प्रसारण का प्रबंध किया गया।
प्रदेश विधानसभा अध्यक्ष विपिन सिंह परमार, केन्द्रीय वित्त एवं कारपोरेट मामले राज्य मंत्री अनुराग सिंह ठाकुर, परिवहन मंत्री बिक्रम सिंह, शिक्षा मंत्री गोविन्द सिंह ठाकुर, ऊर्जा मंत्री सुख राम चैधरी, विधायक एवं उपाध्यक्ष राज्य योजना बोर्ड रमेश धवाला, सांसद राम स्वरूप शर्मा एवं किशन कपूर, सांसद एवं प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सुरेश कश्यप, विधायक एवं पूर्व विधानसभा अध्यक्ष डाॅ. राजीव बिंदल, विधायक विनोद कुमार, किशोरी लाल, विशाल नेहरिया, रवि धीमान, अरूण कुक्का, आशीष बुटेल और विक्रमादित्य सिंह तथा पूर्व सांसद महेश्वर सिंह भी इस अवसर पर उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने मोथरावाला रोड, स्थित माटी कला बोर्ड कार्यालय में मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत कुम्हारी कला के लिए विद्युत चालित चाक वितरित किये।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने मोथरावाला रोड, स्थित माटी कला बोर्ड कार्यालय में मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत कुम्हारी कला के लिए विद्युत चालित चाक वितरित किये।
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि माटी कला के लिए प्रदेश में एक प्रशिक्षण केन्द्र खोला जायेगा। माटी कला बोर्ड को मिट्टी गूंथने वाली 200 मशीने दी जायेंगी। उन्होंने कहा कि मिट्टी के कार्यों से जुड़े शिल्पकारों का एक डाटा बेस बनना चाहिए। ऐसे स्थान चिन्हित किये जाय जहां पर इस शिल्प पर आधारित कार्य अधिक हो रहे हैं एवं मिट्टी के उपकरण बनाने के लिए उपयुक्त मिट्टी वाले स्थानों को चिन्हित करना जरूरी है। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि तकनीक के साथ इस शिल्प को कैसे और उभारा जा सकता है, इस दिशा में प्रयासों की जरूरत है। युवा पीढ़ी आधुनिक तकनीक के कार्यों के महत्व को जानती है। हमें अपनी विशेषज्ञता वाले कार्यों से अपनी पहचान को बढ़ाना होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्लास्टिक प्रतिबंधित होने से मिट्टी के उपकरणों की डिमांड बढ़ी है। त्योहारों का सीजन और उसके बाद हरिद्वार कुंभ में मिट्टी के उपकरणों की डिमांड बहुत तेजी से बढ़ेगी। बाजार की मांग के हिसाब से पूर्ति की व्यवस्था हो। उन्होंने कहा कि सरकारी कार्यालयों में भी मिट्टी के उपकरणों एवं गमलों के इस्तेमाल के लिए प्रोत्साहित किया जायेगा। विधायक श्री विनोद चमोली ने कहा कि माटी के कार्य से जुड़े लोगों के जीवन स्तर में सुधार की दिशा में सरकार कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि इन कार्यों को प्रोत्साहित करने के लिए विभिन्न मेलों में मटा कला बोर्ड के स्टाॅल लगने चाहिए। जिससे इस कार्य से जुड़े लोगों को अपने उत्पादों को बेचने में मदद मिलेगी। माटी कला बोर्ड के उपाध्यक्ष श्री शोभाराम प्रजापति ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा जो भी जन कल्याणकारी योजनाएं चलाई जा रही हैं, सभी योजनाओं में गरीबों के हितों का पूरा ध्यान रखा जा रहा है। उन्होंने मिट्टी के कार्य से जुड़े लोगों की प्रमुख समस्याओं के बारे में जानकारी दी। इस अवसर पर शिक्षा मंत्री अरविन्द पाण्डेय, मेयर सुनील उनियाल गामा, भाजपा के महानगर अध्यक्ष सीताराम भट्ट, उद्योग निदेशक सुधीर नौटियाल आदि उपस्थित थे।
मुन्नी देवी को मिली खुशियों की सौगात
अन्न उत्सव कार्यक्रम में पात्रता पर्ची मिलने पर
मुन्नी देवी को मिली खुशियों की सौगात
मुन्नी देवी को अब पात्रता पर्ची से मिलेगी खाद्यान्न सामग्री
भिण्ड 17 सितम्बर 2020/मुख्यमंत्री अन्नपूर्णा योजना अंतर्गत “अन्न उत्सव” कार्यक्रम निराला रंग विहार मेला ग्राउण्ड भिण्ड में आयोजित किया गया। कार्यक्रम ग्राम अकलौनी निवासी श्रीमती मुन्नी देवी को प्रदेश के नगरीय विकास एवं आवास विभाग के राज्यमंत्री श्री ओपीएस भदौरिया एवं भिण्ड-दतिया संसदीय क्षेत्र की सांसद श्रीमती संध्या राय के द्वारा पात्रता पर्ची मिली।
पात्रता पर्ची मिलने से हितग्राही मुन्नी देवी की सारी चिंताएं दूर हो गई। वे खुश होकर कहती है कि पहले उन्हें बाजार से मंहगे भाव में राशन खरीदना पड़ता था, जिससे उनकी आजीविका बड़ी कठिनाई पूर्वक चलती थी, लेकिन अब पात्रता पर्ची से उन्हें खाद्यान्न सामग्री कम दरों में मिलेगी। इस योजना का लाभ मिलने से वे बहुत खुश हैं मुन्नी देवी कहती है कि अब हम वन नेशन वन राशन कार्ड के अंतर्गत अन्न किसी दूसरी जगह होने पर भी ले सकते हैं मुन्नी देवी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी एवं मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान का हृदय से धन्यवाद दे रही है।
लाड़ली लक्ष्मी योजना से आरती की अपनी लाडली के भविष्य की चिंता हुई दूर
लाड़ली बालिकाओं को पोषण महोत्सव कार्यक्रम में मिले प्रमाण पत्र
भिण्ड 18 सितम्बर 2020/लाड़ली लक्ष्मी योजनांतर्गत एक-एक लाख रूपये का प्रमाण पत्र पाकर लाड़ली कन्याओं की माताएं बेहद प्रसन्न होकर कहती है कि म0प्र0 सरकार ने हमारी लाड़लियों के भविष्य को संवार दिया। उन्होंने कहा कि इसके लिए हमें कही भटकना भी नहीं पड़ा हमें हमारे गांव में ही इस योजना का लाभ मिल गया । उन्होंने कहा कि म0प्र0 शासन का पोषण महोत्सव कार्यक्रम किसी उत्सव से कम नहीं है। महिला बाल विकास के द्वारा पोषण कार्यक्रम जिला मुख्यालय स्थित कलेक्ट्रेट सभाकक्ष भिण्ड में किया। इस दौरान नई आबादी गली नं एक भिण्ड की लाड़ली आरोही जैन श्रीमती आरती जैन को एक लाख रूपये का प्रमाण पत्र प्रदान किया गया ।
योजनान्तर्गत बालिका के नाम से पंजीकरण के समय से लगातार पांच वर्षो तक छह-छह हजार मध्यप्रदेश लाड़ली लक्ष्मी योजना निधि में जमा किये जाएंगे अर्थात कुल राशि 30 हजार रूपये बालिका के नाम से जमा किये जाएंगे। बालिका के कक्षा 6वीं में प्रवेश लेने पर 2000 रूपये, कक्षा 9वीं में प्रवेश लेने पर 4000 रूपये, कक्षा 11वीं में प्रवेश लेने पर 6000 रूपये तथ कक्षा 12वीं में प्रवेश लेने पर 6000 रूपये का भुगतान बालिका को ई-पेमेंट के माध्यम से किया जायेगा । अंतिम भुगतान एक लाख रूपये बालिका की आयु 21 वर्ष होने पर तथा 12वीं परीक्षा में सम्मिलित होने पर भुगतान किया जाएगा।
देवसिंह के पक्के मकान का सपना हुआ साकार
कहानी सच्ची है
देवसिंह के पक्के मकान का सपना हुआ साकार
भिण्ड / हर व्यक्ति की आकांक्षा होती है कि वह जीवन में लगातार तरक्की करता रहे। रोटी कपड़ा और मकान प्राप्त करना हर मनुष्य का लक्ष्य होता है। ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोग खेती एवं मजदूरी करके जीवनयापन तो कर लेते है, पर मकान उनके लिए किसी सपने से कम नही होता। लोग पुस्त दर पुस्त उसी कच्चे आवास में जीवन गुजार देते है। किंतु यह सपना उनका सपना ही रह जाता है। परिवार के बढ़ने के साथ-साथ मकान की आवश्यकता भी बढ़ती जाती है। निश्चित भूमि में मकान का विस्तार भी संभव नही हो पाता है। इसके लिए पक्का आवास जरूरी हो जाता है।
कम आय जागरूकता का अभाव तथा सीमित संसाधनों के कारण परिवार की वृद्धि के साथ मकान की आवश्यकता पूरी नही हो पाती है। ग्रामीण समाज में जीने वाले ऐसे लोग जो गरीबी के कारण आज भी आधुनिक संसाधनों से दूर है उनके लिए भारत सरकार द्वारा शुरू की गई प्रधानमंत्री आवास योजना नया सवेरा लेकर आई है। भिंड जिले के जनपद पंचायत लहार ग्राम पंचायत काथा में निवास करने वाले देवसिंह का परिवार का सपना अब असलियत में बदल चुका है।
श्री देवसिंह बताते है कि वे अपने परिवारजनों के साथ पुस्तैनी आवास में रह रहे थे, कच्चा घर बरसात में टपकता था, खेती एवं मजदूरी से इतनी आय नही हो पाती थी, कि परिवार की आवश्यकता के अनुसार अच्छा घर बनवा सके। साथ ही घर में कोई घरेलू कार्यक्रम शादी तथा अन्य सामाजिक कार्यक्रम, में परिवार रिश्तेदारों को रूकने के लिए उचित व्यवस्था नही थी, कच्चे घर में सॉप, विच्छू एवं अन्य कीडे-मकोडों का डर रात में हमेशा बना रहता था, जिसके कारण काफी समस्याओं का सामना करना पडता था। वर्ष 2019-20 प्रधानमंत्री आवास योजना-(ग्रामीण) के तहत मेरा चयन हुआ। साथ ही समग्र स्वच्छता अभियान के तहत शौचालय निर्माण हेतु राशि भी मुझे प्राप्त हुई। जिससे शौचालय का निर्माण मेरे द्वारा किया गया। अब मेरा आशियाना बन चुका है। मेरे पूरे परिवार का सपना पूर्ण हो गया है अब मै अपने परिवार के साथ गृह प्रवेश कर नये आवास में खुशहाल जीवन करूंगा।
शासन से प्राप्त लाभ के लिए मै बहुत खुश हूँ सपने मे भी मैं नही सोचा था, की इस तरह की योजनाओं का लाभ मिल पायेगा। इसके लिए मैं प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान को बहुत बहुत धन्यवाद देता हूं।
कृषक राकेश शून्य प्रतिशत पर ब्याज पाकर हुए प्रफुल्लित
(कहानी सच्ची है)
कृषक राकेश शून्य प्रतिशत पर ब्याज पाकर हुए प्रफुल्लित
भिण्ड /भिण्ड जिले के गोहद तहसील के सुहांस गांव के किसान राकेश तोमर ने प्रदेश सरकार के मुख्यमंत्री को धन्यवाद देते हुये कहा है कि वे किसानों के कल्याण के लिये हमेशा चिंतित रहते है। उन्होंने कहा कि जीरो प्रतिशत ब्याज पर किसानों को मिल रहे ऋण का किसानों को बहुत फायदा हो रहा है। किसानों द्वारा समय-समय पर खाद, बीज के लिये सोसायटी से लिये गये ऋण पर ब्याज नहीं देना पड़ रहा है। किसानों को जब जरूरत पड़ती है, ऋण ले लेते है। इससे बढ़कर किसानों के लिये और क्या सुविधा हो सकती है।
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान से बात करते हुए भिण्ड जिले के श्री राकेश तोमर ने बताया कि पहले उन्हें बाजार से ऋण लेने पर 24 प्रतिशत ब्याज साल का देना पड़ता था लेकिन अब केसीसी से उन्हें बिना ब्याज के आसानी से ऋण उपलब्ध हो रहा है। किसान इस ब्याज से बहुत परेशान था। अब सरकार स्वयं ब्याज मुफ्त ऋण दे रही है तो हम साहूकारों पर क्यों जायेंगे।
राकेश तोमर ने बताया कि मेरे पास 3 बीघा जमीन है मुझे सबकों साख, सबका विकास कार्यक्रम के तहत किसान क्रेडिट कार्ड प्राप्त हो गया है। मैं भी अपनी आवश्यकता के अनुरूप खाद, बीज, कीटनाशक दवाईयों के लिये जीरो प्रतिशत पर ऋण ले सकूंगा। किसान राकेश तोमर ने कहा कि मुख्यमंत्री जी ने मुख्यमंत्री किसान सम्मान निधि की घोषणा करके छोटे कृषकों के हित में बहुत बड़ा निर्णय लिया। उनके निर्णय के अनुसार अब छोटे, मझले किसानों को वर्ष भर में प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री किसान सम्मान निधि से 10 हजार रूपये प्राप्त हो सकेंगे। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री किसानों के हित में बहुत अच्छा कर रहे है।
संकट से बाहर निकालने में मददगार बनी,मामा जी की संबल योजना में प्राप्त हुई अनुग्रह सहायता राशि-भूरी बाई
कहानी सच्ची हैं
संकट से बाहर निकालने में मददगार बनी,मामा जी की संबल योजना में प्राप्त हुई अनुग्रह सहायता राशि-भूरी बाई
भिण्ड 24 सितम्बर/ मध्य प्रदेश सरकार की संबल योजना गरीबो के लिए सुरक्षा कवच बन गई है। संबल योजना से हितलाभ प्राप्त करने वाले प्रदेश के लाखों गरीब परिवारो की जिंदगी में खुशहाली आई है।
भिंड जिले की गोहद ग्राम चन्दारा निवासी भूरी बाई को भी मुख्यमंत्री जन कल्याण संबल योजना अंतर्गत अनुग्रह राशि 2 लाख रुपए की सामान्य मृत्यु अनुग्रह सहायता राशि का प्रमाण पत्र दिया गया है। भूरी बाई कहती है कि उनके पति स्व. रमेश सिंह की इलाज के दौरान मृत्यु हो गई थी। वे कहती है कि उनके पति किसानी करते थे। परिवार में वो ही कमाने वाले एक मात्र व्यक्ति थे। पति के चले जाने के बाद भूरी बाई पर मनो दुखो का पहाड़ सा टूट गया था।
भूरी बाई कहती है कि उनके पास 3बच्चे है उन्हें अपने बच्चों के भविष्य के बारे में चिंता रहती थी कि पति के चले जाने के बाद अब इनकी परवरिश कैसे कर पाऊँगी उन्हें बच्चो के भविष्य की चिंता सताने लगी थी। परंतु भूरी बाई कहती है कि मामा जी ने मेरी सारी चिंता दूर कर दी है। आज मुझे संबल योजना में दो लाख रुपए की अनुग्रह सहायता दी गई है। इस सहायता राशि से में फिर से अपना कोई व्यवसाय चालू कर सकूँगी। अपने छोटे छोटे बच्चों की अच्छी तरह से परवरिश कर सकूँगी। भूरी बाई कहती है कि मामा जी शिवराज सिंह चौहान की संबल योजना आज संकट की घडी में मेरा सहारा बनी है। इनके लिए में मुख्य मंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान का धन्यवाद ज्ञापित करती हूं।
किसान क्रेडिट कार्ड मिलने से रवि सिंह को मिली कर्ज से मुक्ति
किसान क्रेडिट कार्ड मिलने से रवि सिंह को मिली कर्ज से मुक्ति
भिण्ड ,प्रधानमंत्री किसान योजना अंतर्गत कृषकों, पशु पालकों एवं मत्स्य पालकों को किसान क्रेडिट कार्ड वितरित किए गए। इनके वितरण होने से कृषकों के चेहरे पर खुशी झलक रही है। ऐसे ही तहसील गोहद के ग्राम नोनेरा निवासी रवि सिंह तोमर हैं, जिन्हें प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजनांतर्गत 2 लाख रुपए की राशि का किसान केडिट कार्ड प्रदाय किया गया है। उन्हें यह ऋण स्वीकृति पत्र जिला स्तरीय सबको साख-सबका विकास के दौरान वितरित किया। इसके लिए वे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी एवं मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान को हृदय से धन्यवाद दे रहे हैं।
कृषक श्री रवि खुश होकर कहते हैं कि केंद्र सरकार एवं प्रदेश सरकार द्वारा किसानों के हित में कई जन कल्याणकारी योजनाएं संचालित की जा रही है। इन योजनाओं के खेती अब लाभ का धंधा बन रही है। वे कहते हैं कि शासन की इस महत्ती योजना से अब सहकारी समिति में उनकी साख भी बढ़ गई है। कृषक का कहना है कि राशि स्वीकृति का प्रमाण पत्र मिलने से वे बहुत खुश है। वे कहते हैं कि मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने उनके जैसे आर्थिक परेशानी में फंसे किसानों को बड़ा सहारा दे दिया है, उनका बहुत-बहुत धन्यवाद।
6 आदतन अपराधियों को किया तीन माह के लिए जिला बदर
कार्यालय भिण्ड (म.प्र.)
समाचार
06 आदतन अपराधियों को किया तीन माह के लिए जिला बदर
भिण्ड 04 अक्टूबर 2020/ जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने पुलिस अधीक्षक श्री मनोज कुमार सिंह के प्रस्ताव पर 06 आदतन अपराधियों को तीन माह तक जिला बदर किया है। इन आदतन अपराधियों पर विभिन्न थानों में विभिन्न अपराधों के मामले पंजीवद्ध है। जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने मध्यप्रदेश राज्य सुरक्षा अधिनियम 1990 की धारा 3 सहपठित धारा 5 के प्रावधानों के अंतर्गत यह कार्यवाही की है।
जिन 06 आदतन अपराधियों को जिला बदर किया है, उनमें रामभुवन यादव पुत्र अर्जुन सिंह यादव निवासी खिपौना थाना अटेर, देवेन्द्र उर्फ कीरू पुत्र नरोत्तम सिंह भदौरिया निवासी ग्राम विछोली थाना पावई जिला भिण्ड, बॉबी सिंह पुत्र नरेश सिंह निवासी पुरानी गढिया थाना नयागांव जिला भिण्ड, लक्ष्मीनारायण उर्फ फौजी पुत्र रामभुवन यादव निवासी ग्राम खिपौना थाना अटेर, खलक सिंह उर्फ खडक सिंह पुत्र अशर्फी यादव निवासी खिपौना थाना अटेर, विनोद यादव पुत्र अशर्फी लाल यादव निवासी खिपौना थाना अटेर शामिल है।
इन आदतन अपराधियों की आपराधिक, असामाजिक गतिविधियों को नियंत्रित करने के उद्देश्य से लोक व्यवस्था एवं जनसाधारण के हित में शान्ति व्यवस्था बनी रहे, इसके लिए जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने इन आदतन अपराधियों को आदेशित किया है, कि वे जिला भिण्ड एवं उसके निकटतमी जिले ग्वालियर, मुरैना, दतिया की सीमा से 3 माह की अवधि के लिए बाहर चले जाये तथा बिना पूर्व स्वीकृति के उपरोक्त जिलो की सीमा में प्रवेश न करें।
एक आदतन अपराधी को किया 06 माह के लिए जिला बदर
भिण्ड 04 अक्टूबर 2020/ जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने पुलिस अधीक्षक श्री मनोज कुमार सिंह के प्रस्ताव पर एक आदतन अपराधियों को जिला बदर किया है। आदतन अपराधी पर विभिन्न थानों में विभिन्न अपराधों के मामले पंजीवद्ध है।
जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने मध्यप्रदेश राज्य सुरक्षा अधिनियम 1990 की धारा 3 सहपठित धारा 5 के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए आरोपी डरू उर्फ हरिओम तिवारी पुत्र रामकरन उम्र 24 साल निवासी तिवारी मोहल्ला गोरमी जिला भिण्ड की आपराधिक व असामाजिक गतिविधियों को नियंत्रित करने के उदेश्य से लोक व्यवस्था एवं जनसाधारण के हित में जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने आदतन अपराधी आरोपी डरू उर्फ हरिओम तिवारी पुत्र रामकरन उम्र 24 साल निवासी तिवारी मोहल्ला गोरमी जिला भिण्ड को आदेशित किया है, कि जिला भिण्ड एवं उसके निकटतमी जिले ग्वालियर, मुरैना, दतिया की सीमा से 6 माह की अवधि के लिए बाहर चला जाए तथा बिना पूर्व स्वीकृति के उपरोक्त जिलो की सीमा में प्रवेश न करें।
तीन आदतन अपराधियों को करानी होगी 3 माह प्रतिदिन संबंधित अनुविभागीय दण्डाधिकारी के पास उपस्थिति दर्ज
भिण्ड 04 अक्टूबर 2020/ जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने पुलिस अधीक्षक श्री मनोज कुमार सिंह के प्रस्ताव पर तीन आदतन अपराधियों पर विभिन्न थानों में अपराधों के मामले पंजीवद्ध है। जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने मध्यप्रदेश राज्य सुरक्षा अधिनियम 1990 की धारा 3 (1) क, ख, ग के अन्तर्गत यह कार्यवाही की है।
जिसमें आरोपी सतेन्द्र सिंह पुत्र शिवराज सिंह भदौरिया निवासी ग्राम ज्ञानपुरा थाना फूप जिला भिण्ड,लटूरे उर्फ लक्ष्मीनारायण पुत्र हरिशचन्द्र राजपूत निवासी टकपुरा थाना अमायन जिला भिण्ड, रसाल सिंह पुत्र वीरेन्द्र सिंह निवासी टकपुरा थाना अमायन जिला भिण्ड शामिल है। इन तीन आदतन अपराधियों की आपराधिक, असामाजिक गतिविधियों को नियंत्रित करने के उद्देश्य से लोक व्यवस्था एवं जनसाधारण के हित में शान्ति व्यवस्था बनी रहे, इसके लिए जिला दण्डाधिकारी श्री वीरेन्द्र सिंह रावत ने इन आदतन अपराधियों को आदेशित किया है, कि वे आदेश पारित दिनांक से तीन माह की अवधि तक प्रतिदिन संबंधित क्षेत्र के अनुविभागीय दण्डाधिकारी के पास उपस्थित होकर अपनी उपस्थिति दर्ज कराना सुनिश्चित करेगा तथा दिनभर की गविधियों/ क्रियाकलापो की जानकारी संबंधित अनुविभागीय दण्डाधिकारी को देगा।
विधानसभा उप निर्वाचन 2020 में 63 लाख 51 हजार से अधिक मतदाता
भिण्ड 04 अक्टूबर, 2020/अपर मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री अरूण कुमार तोमर ने बताया कि विधानसभा उप निर्वाचन 2020 में कुल मतदाता 63 लाख 51 हजार 867 है। इनमें 33 लाख 73 हजार 402 पुरूष मतदाता, 29 लाख 78 हजार 267 महिला मतदाता एवं 198 अन्य मतदाता हैं।
भिण्ड जिले की मेहगांव विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 60 हजार 899 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 44 हजार 245 पुरूष, 1 लाख 16 हजार 654 महिला मतदाता, गोहद विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 24 हजार 743 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 22 हजार 696 पुरूष, 1 लाख 2 हजार 11 महिला एवं 36 अन्य मतदाता हैं।
मुरैना जिले की जौरा विधानसभा में कुल 2 लाख 44 हजार 65 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 32 हजार 214 पुरूष, 1 लाख 11 हजार 837 महिला एवं 14 अन्य मतदाता, सुमावली विधानसभा में कुल 2 लाख 39 हजार 926 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 32 हजार 62 पुरूष, 1 लाख 7 हजार 858 महिला एवं 6 अन्य मतदाता, मुरैना विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 54 हजार 671 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 40 हजार 37 पुरूष, 1 लाख 14 हजार 617 महिला एवं 17 अन्य मतदाता, दिमनी विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 14 हजार 873 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 17 हजार 543 पुरूष, 97 हजार 325 महिला एवं 5 अन्य मतदाता, अम्बाह विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 22 हजार 797 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 19 हजार 697 पुरूष, 1 लाख 3 हजार 96 महिला एवं 4 अन्य मतदाता हैं।
ग्वालियर जिले की ग्वालियर विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 88 हजार 674 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 54 हजार 912 पुरूष, 1 लाख 33 हजार 746 महिला एवं 16 अन्य मतदाता, ग्वालियर पूर्व विधानसभा क्षेत्र में कुल 3 लाख 12 हजार 946 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 67 हजार 858 पुरूष, 1 लाख 45 हजार 75 महिला एवं 13 अन्य मतदाता, डबरा विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 28 हजार 153 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 21 हजार 50 पुरूष, 1 लाख 7 हजार 98 महिला एवं 5 अन्य मतदाता हैं। दतिया जिले की भांडेर विधानसभा क्षेत्र में कुल 1 लाख 74 हजार 601 मतदाता हैं, जिनमें 93 हजार 501 पुरूष, 81 हजार 94 महिला एवं 6 अन्य मतदाता हैं।
शिवपुरी जिले की करेरा विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 41 हजार 445 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 30 हजार 226 पुरूष, 1 लाख 11 हजार 218 महिला एवं 1 अन्य मतदाता, पोहरी विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 21 हजार 576 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 19 हजार 346 पुरूष, 1 लाख 2 हजार 227 महिला एवं 3 अन्य मतदाता हैं। गुना जिले की बमोरी विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 5 हजार 335 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 6 हजार 999 पुरूष, 98 हजार 336 महिला मतदाता हैं।
अशोक नगर जिले की अशोक नगर विधानसभा क्षेत्र में कुल 1 लाख 96 हजार 527 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 3 हजार 814 पुरूष, 92 हजार 707 महिला एवं 6 अन्य मतदाता और मुंगावली विधानसभा क्षेत्र में कुल 1 लाख 92 हजार 115 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 2 हजार 666 पुरूष, 89 हजार 442 महिला एवं 7 अन्य मतदाता हैं।
सागर जिले की सुरखी विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 5 हजार 395 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 11 हजार 697 पुरूष, 93 हजार 685 महिला एवं 13 अन्य मतदाता हैं। छतरपुर जिले की मलहरा विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 13 हजार 535 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 14 हजार 968 पुरूष, 98 हजार 558 महिला एवं 9 अन्य मतदाता हैं। अनूपपुर जिले की अनूपपुर विधानसभा क्षेत्र में कुल 1 लाख 69 हजार 70 मतदाता हैं, जिनमें 86 हजार 731 पुरूष, 82 हजार 336 महिला एवं 3 अन्य मतदाता हैं।
रायसेन जिले की सॉची विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 40 हजार 775 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 28 हजार 374 पुरूष, 1 लाख 12 हजार 392 महिला एवं 9 अन्य मतदाता हैं। राजगढ़ जिले की ब्यावरा विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 25 हजार 322 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 15 हजार 989 पुरूष, 1 लाख 9 हजार 332 महिला एवं 1 अन्य मतदाता हैं। आगर मालवा जिले की आगर विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 17 हजार 266 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 11 हजार 926 पुरूष, 1 लाख 5 हजार 335 महिला एवं 5 अन्य मतदाता हैं।
देवास जिले की हाटपिपल्या विधानसभा क्षेत्र में कुल 1 लाख 91 हजार 439 मतदाता हैं, जिनमें 98 हजार 644 पुरूष, 92 हजार 792 महिला एवं 3 अन्य मतदाता हैं। खण्डवा जिले की मांधाता विधानसभा क्षेत्र में कुल 1 लाख 96 हजार 415 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 1 हजार 826 पुरूष, 94 हजार 586 महिला एवं 3 अन्य मतदाता हैं। बुरहानपुर जिले की नेपानगर विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 40 हजार 743 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 23 हजार 374 पुरूष, 1 लाख 17 हजार 365 महिला एवं 4 अन्य मतदाता हैं।
धार जिले की बदनावर विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 3 हजार 900 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 2 हजार 163 पुरूष, 1 लाख 1 हजार 735 महिला एवं 2 अन्य मतदाता हैं। इंदौर जिले की सांवेर विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 64 हजार 271 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 35 हजार 523 पुरूष, 1 लाख 28 हजार 746 महिला एवं 2 अन्य मतदाता हैं। मंदसौर जिले की सुवासरा विधानसभा क्षेत्र में कुल 2 लाख 60 हजार 390 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 33 हजार 321 पुरूष, 1 लाख 27 हजार 64 महिला एवं 5 अन्य मतदाता हैं,
भारत निर्वाचन आयोग को प्रेषित किये जाने वाले प्रस्तावों का परीक्षण करने
स्क्रीनिंग कमेटी गठित
भिण्ड 04 अक्टूबर, 2020/विधानसभा उप निर्वाचन-2020 की आचार संहिता प्रभावशील होने से मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के माध्यम से भारत निर्वाचन आयोग को प्रेषित किये जाने वाले प्रस्ताव का परीक्षण/अनुशंसा करने के लिये राज्य शासन द्वारा स्क्रीनिंग कमेटी गठित की गई है।
इस स्क्रीनिंग कमेटी के अध्यक्ष मुख्य सचिव होंगे। अपर मुख्य सचिव, सामान्य प्रशासन विभाग तथा जिस विभाग का प्रस्ताव प्रस्तुत किया जायेगा, उसके अपर मुख्य सचिव/प्रमुख सचिव/सचिव भी कमेटी के सदस्य होंगे।
जारी आदेश के मुताबिक अब कोई भी विभाग विधानसभा उप निर्वाचन के संदर्भ में जारी आचार संहिता के दौरान अपना प्रस्ताव स्क्रीनिंग कमेटी के परीक्षण/अनुशंसा के पूर्व मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के माध्यम से अथवा सीधे भारत निर्वाचन आयोग को प्रेषित नहीं करेगा। स्क्रीनिंग कमेटी के समक्ष प्रस्ताव प्रस्तुत करने के पूर्व प्रशासकीय विभाग भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों/स्पष्टीकरण का पर्याप्त अध्ययन और उसके अनुसार परीक्षण करते हुए भारत निर्वाचन आयोग के सुसंगत निर्देशों/आदेशों का हवाला देते हुए उसे संदर्भित करेगा। प्रशासकीय विभाग को अपने प्रस्ताव में यह औचित्य भी दर्शाना होगा कि प्रस्ताव अत्यंत महत्वपूर्ण क्यों है और निर्वाचन प्रक्रिया पूर्ण होने तक इसे क्यों नहीं रोका जा सकता है।
भारत निर्वाचन आयोग को प्रेषित किया जाने वाला प्रस्ताव स्वयं स्पष्ट टीप के रूप में भेजा जायेगा न कि नस्ती के रूप में। प्रस्ताव भेजने के पूर्व भारत निर्वाचन आयोग के निर्णय में लगने वाले संभावित समय का विशेष ध्यान रखना होगा। प्रस्ताव सामान्य प्रशासन विभाग के माध्यम से समिति के समक्ष प्रस्तुत किये जायेंगे। जो प्रस्ताव उक्त मापदण्डों की पूर्ति करते हुए नहीं होंगे, उन्हें लौटा दिया जायेगा।
बूथ लेवल एप से हो सकेगी मतदाता की पहचान
भारत निर्वाचन आयोग द्वारा दिया गया बूथ लेवल एप के उपयोग का प्रशिक्षण
भिण्ड 04 अक्टूबर, 2020/ भारत निर्वाचन आयोग द्वारा चुनाव में सूचना प्रौद्योगिकी का अधिक से अधिक उपयोग किया जा रहा है। इसी कड़ी में शनिवार को आयोग द्वारा वीडियो कान्फ्रेंसिंग से उप चुनाव वाले 19 जिलों के निर्वाचन अधिकारियों को बूथ लेवल एप के उपयोग का प्रशिक्षण दिया गया।
बूथ लेवल एप से मतदाताओं द्वारा मतदान के समय उसकी पहचान डिजिटल तरीके से हो सकेगी। इसमें मतदाता को प्रदाय वोटर स्लिप को मतदान केन्द्र पर स्केन करते ही उस समय तक कितने मतदाताओं द्वारा मतदान किया जा चुका है, इसकी पूरी जानकारी सर्वर पर मिल जाएगी और रीयल टाइम में मतदान का प्रतिशत भी ज्ञात हो सकेगा।
यदि कोई मतदाता पुनरू वोट डालने आ जाता है तो बूथ लेवल एप तत्काल उसकी पहचान कर लेगा। इससे फर्जी मतदान रोकने में सुविधा होगी। प्रशिक्षण में मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय के तकनीकी अधिकारी भी उपस्थित थे।
Monday, September 21, 2020
सालों की मेहनत और बहुत लोगों का संघर्ष है राज कम्युनिकेशन
Saturday, September 19, 2020
मसूरी विधायक गणेष जोशी के नेतृत्व में पूर्व सैन्य अफसरों के प्रतिनिधिमण्डल ने मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत से मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा
मुख्य शिक्षा अधिकारी देहरादून, आशा पैन्यूली ने विद्यालयों को दिए दिशा निर्देश
Wednesday, September 16, 2020
Tuesday, September 15, 2020
मसूरी विधायक गणेश जोशी ने भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं संग सेवा सप्ताह के तहत पर्यटक स्थल सहस्त्रधारा में स्वच्छता अभियान एवं प्लास्टिक फ्री अभियान चलाया।
Saturday, September 12, 2020
घर-घर जाकर बच्चो को शिक्षा प्रदान कर रहे है शिक्षक श्री राजपूत
भिण्ड/भिण्ड जिले के अटेर विकास खण्ड के शासकीय प्राथमिक माध्यमिक विद्यालय ग्राम मल्लपुरा के शिक्षक श्री राकेश सिंह राजपूत ने लाउड स्पीकर की व्यवस्था कर उसी पर रेडियो स्कूल कार्यक्रम सुनवाना प्रारंभ किया हैं। जिन बच्चों के पास एंड्राइड मोबाइल नहीं है उनको लाउडस्पीकर के माध्यम से शिक्षण सामग्री सुनाई जाती है शिक्षक राकेश सिंह ’’हमारा घर हमारा विद्यालय’’ कार्यक्रम के तहत घर-घर जाकर होमवर्क जांचते हैं।
शिक्षक राकेश सिंह राजपूत मोहल्ला क्लासों का नियमित संचालन कर रहे है कोरोना के काल में शिक्षक श्री राजपूत बोर्ड एवं शिक्षण सहायक सामग्री साथ लेकर घर-घर जाकर शिक्षा दे रहे है जिसमें दक्षता उन्नयन की वर्क बुक ’’आओ करें और सीखें’’ पर शिक्षण कार्य कराया जा रहा है। इनके द्वारा हमारा घर हमारा विद्यालय कार्यक्रम में मोहल्ला क्लास में उपस्थित बिना मास्क के बच्चों को निःशुल्क मास्क वितरण भी किया जाता हैं श्री राकेश सिंह राजपूत को वर्ष 2019 में राज्य स्तरीय पुरस्कार प्राप्त कर चुके हैं।